गैरतगंज में कमलनाथ की हैरतअंगेज जनसभा, खाली कुर्सियों ने लगाई "जय-जय कमलनाथ" के नारे, कमलनाथ का हुआ ये हाल!
गैरतगंज में कमलनाथ की हैरतअंगेज जनसभा, खाली कुर्सियों ने की “जय-जय कमलनाथ” की नारेबाजी, कमलनाथ का हुआ ये हाल!
मध्य प्रदेश में उपचुनाव से पहले नेताओं की रैलियां हो रही हैं.
उप चुनाव से पहले जनता भी अपने नापसंद के नेताओं को यह बता ही दे रही है कि उनके पसंद के नेता कौन हैं.. पहले उमा भारती की सभा में भीड़ नहीं जुटी, फिर पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के पीसीसी चीफ कमलनाथ की सभा में भी खाली कुर्सियां लोगों की राह देखती रही.
गैरतगंज में कमलनाथ ने सभा तो की पर सिर्फ कुर्सियों के बीच.. उनके इस जनसभा में कुर्सियां तो सैकड़ों लोगों के लिए लगी पर लोग बहुत कम आए..
ठीक ऐसा ही उमा भारती के साथ भी हुआ.
भारतीय जनता पार्टी (Bhartiya Janta Party) की स्टार प्रचारक (Star Campaigner) फायर ब्रांड नेत्री उमा भारती (Uma Bharti) मैंंदान में उतार गई हैंं। वो लगातार अपने उम्ममीदवारों के लिए सभाएं करके अपने उम्मीदवारों के लिए वोट मांग रही हैं।
इसी बीच उमा भारती (Uma Bharti) भिंड (Bhind) जिले की मेहगांव विधानसभा के लोधी बाहुल्य गांव नुन्हड़ में आयोजित चुनाव प्रचार करने पहुंची थी। लेकिन उमा भारती (Uma Bharti) की ये सभा पूरी तरह से फ्लॉप नज़र आई। सभा स्थल का आलम यह था कि वहां पर बमुश्किल 200 लोग आगे की कुर्सियों पर बैठे थे और पीछे की इससे भी अधिक कुर्सियां खाली पड़ी लोगों का इंतजार कर रही थी।
जिसको देख उमा भारती (Uma Bharti) बेहद नाराज़ नज़र आई। उन्होंने माइक पर खड़े होकर सभा आयोजकों को जमकर लताड़ लगाई। उन्होंने कहा कि यदि आप भीड़ नहीं जुटा पा रहे थे तो सभा कैंसिल कर देते या कोई और दूसरा समय ले लेते।
उमा भारती (Uma Bharti) ने कहा कि मुझ पर यह आरोप लगता कि उनके रिश्तेदार चुनाव लड़ रहे हैं इसलिए दीदी ओपीएस का प्रचार करने मेहगांव में नहीं आई इसलिए मैंने यहां सभा का कार्यक्रम दिया। लेकिन यहां कोई नहीं पहुंचा।
उमा भारती ने यहां तक कह दिया कि भिंड – मुरैना में तो हमेशा ऐसा ही होता हैं।
बता दे कि उमा भारती की इस सभा का वीडियो सोशल मीडिया (Social Media) पर तेज़ी के साथ वायरल हो रहा हैं। इतना ही नहीं इस सभा से न केवल भाजपा प्रत्याशी ओपीएस भदौरिया (OPS Bhadoriya), पार्टी की फायर ब्रांड नेता उमा भारती बल्कि भारतीय जनता पार्टी की जमकर किरकिरी हो रहीं
इसी तरह उमा भारती की सभा में भी लोग नहीं आए जिसकी वजह से वह बिना सभा किए ही लौट गई.