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लक्ष्य से अधिक आयुष्मान कार्ड बनाने का इंदौर ने बनाया रिकार्ड

आयुष्मान भारत योजना के तहत इंदौर जिले ने सौ फीसद कार्ड बनाने का लक्ष्य पूरा कर लिया है। जिले ने लक्ष्य से भी अधिक आयुष्मान कार्ड इस बार बना लिए हैं। इसी के साथ प्रदेश का पहला जिला बन गया है, जहां शत-प्रतिशत से अधिक कार्ड बन चुके हैं। जरूरतमंद गरीबों के मुफ्त इलाज के लिए सरकार की आयुष्मान भारत योजना के अंतर्गत जिले के लिए सरकार ने जो लक्ष्य तय किया था।

इंदौर जिले ने उससे अधिक कार्ड बनाने का रिकार्ड बनाया है। लक्ष्य से अधिक कार्ड बनाने का कारण खाद्यान्न पर्ची से राशन लेने वालों को भी आयुष्मान योजना में शामिल करना बताया जा रहा है। जिले के लिए 11,74,252 लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाने का लक्ष्य तय किया गया था। आयुष्मान कार्ड के लिए 12,73,938 लोगों ने आवेदन किया था। इनमें से छह नवंबर तक ही 12,72,867 लोगों के कार्ड बनाए जा चुके हैं।

बता दें कि जिले के 56 निजी अस्पतालों में आयुष्मान कार्ड से इलाज किया जाता है। वर्ष 2018 से शुरू हुई योजना के अंतर्गत इंदौर में अभी तक हजारों जरूरतमंद अपना इलाज करवा चुके हैं। अधिकारियों ने बताया कि लक्ष्य से अधिक कार्ड का कारण यह है कि सरकार ने अपने नियमों में संशोधन कर दिया। अब शासकीय कंट्रोल से खाद्यान्न पर्ची संबल कार्डधारियों का राशन लेने वालों की समग्र आइडी के माध्यम से आयुष्मान कार्ड बनाए जा रहे हैं। इससे लक्ष्य तय होने के बाद भी आयुष्मान कार्ड बनाए जा रहे हैं।

केंद्र सरकार द्वारा जरूरतमंदों को मुफ्त इलाज मिले, इसलिए आयुष्मान भारत योजना वर्ष 2018 में शुरू की थी। योजना के अंतर्गत सरकार द्वारा चिन्हित गरीब परिवारों का अनुबंधित अस्पतालों में पांच लाख रुपये तक का निशुल्क इलाज किया जाता है। निशुल्क इलाज के लिए साल 2011 की जनगणना में चिन्हित गरीब लोगों को ही पात्र मानकर आयुष्मान भारत योजना की पोर्टल की लिस्ट में उन्हीं लोगों या उनके परिवारों को शामिल किया गया है।

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