बड़वानी
शनिवार को राजकोट से ट्रेन के माध्यम से मेघनगर रेल्वे स्टेशन पहुंचे जिले के 1277 मजदूरो को 32 बसो के माध्यम से जिले में लाया गया। यहाॅ उन्हें साबुन से हाथ – मुंह धुलवाकर जहा स्वास्थ्य परीक्षण किया गया, वही खाना खिलवाकर पुनः बसो के माध्यम से उनके गृह ग्राम तक पहुंचवाया गया।
कलेक्टर श्री अमित तोमर ने बताया कि लाॅक डाउन के कारण गुजरात में फॅसे जिले के इन मजदूरो को विशेष ट्रेन के माध्यम से शनिवार की सुबह मेघनगर लाया गया। जहाॅ से इन मजदूरो को अधिकारियों की देख-रेख में बसो के माध्यम से जिले में लाया गया। यहाॅ आने के साथ सर्वप्रथम साबुन से उनके हाथ – मुंह धुलवाये गये, तत्पश्चात् सेनेटाइजर से हाथ साफ कराकर उनका स्वास्थ्य परीक्षण करवाया गया । इस दौरान उन्हें खाने के पैकेट भी वितरित किये गये। वही प्रत्येक मजदूर की व्यक्तिगत जानकारी नोट कर उन्हें उनके घरो तक बसो के माध्यम से पहुंचाया गया है। श्री तोमर ने बताया कि इन मजदूरो की जानकारी उनके ग्राम के सरपंच एवं सचिव से सांझा की जायेगी, जिससे वे इन्हें अगले 14 दिन तक होम क्वारेटाइन में रहना सुनिश्चित करवा सके।
3 बच्चो का पिता गोटिया भी लौटा है पत्नि सयाजीबाई के साथ
गुजरात से लौटे पलवट के श्री गोटिया खुशी – खुशी बताते है कि वे 4 माह पहले मजदूरी करने हेतु जूनागढ़ गुजरात गये थे, साथ में उनकी पत्नि श्रीमती सयाजीबाई एवं 3 बच्चे भी थे। घोषित लाॅक डाउन के कारण वे चाहकर भी अपने ग्राम नही लौट पा रहे थे। ऐसे में सरकार ने उन जैसे मजदूरो की चिन्ता कर जो ट्रेन एवं बस सुविधा निःशुल्क उपलब्ध कराकर घर पहुंचने का अवसर प्रदान किया है, वे इसे जिन्दगी भर नही भूल पायेंगे।
गोदी में दो छोटे बच्चो को लेकर काशीराम एवं सोनविलाबाई भी पहुंचे अपने घर
विकासखण्ड पाटी के ग्राम रानीपुरा के श्री काशीराम अपनी पत्नि श्रीमती सोनविलाबाई एवं 2 छोटे बच्चो के साथ गुजरात के मगरवाड़ा में विगत 4 माह से फॅसे हुये थे । ऐसे में जब उन्हें ज्ञात हुआ कि बड़वानी के मजदूरो को राजकोट से ट्रेन के माध्यम से मेघनगर एवं मेघनगर से बस के माध्यम से अपने गाॅव तक निःशुल्क भेजा जा रहा है। तो वे भी पत्नि एवं बच्चो तथा अपने भाई श्री भलसिंह के साथ ट्रेन में सवार होकर मेघनगर पहुंच गये और वहाॅ से उपलब्ध कराई गई बस के माध्यम से अब अपने गाॅव पहुंच रहे है। विपत्ति के समय शासन एवं प्रशासन ने जो सुविधा उन्हें उपलब्ध कराई है उसकी वे जितनी तारीफ करें, वह कमी है।
गारा का गुलसिंह भी घर पहुंचकर अब खुश है
गुजरात से लौटे गारा के श्री गुलसिंह खुशी – खुशी बताते है कि वे अपनी पत्नि श्रीमती करवानबाई के साथ 5 माह पहले मजदूरी करने गुजरात के मगरवाड़ा गये थे। सभी लोग लाॅक डाउन के कारण गुजरात में फॅस गये थे, ऐसे में चाहकर भी अपने घरो को नही लौट पा रहे थे । भला हो शासन – प्रशासन का जिसने निःशुल्क ट्रेन एवं बस सुविधा उपलब्ध कराकर सुरक्षित तरीके से हमे अपने ग्राम तक पहुंचा दिया है।
आज भी मेघनगर से लाये जायेंगे मजदूर
आज रविवार को ट्रेन से मेघनगर पहुंचने वाले 957 मजदूरो को 25 बसो के माध्यम से जिले में लाया जायेगा। रविवार को प्रातः 6 बजे मेघनगर पहुंचने वाली इस ट्रेन के लिये कल जिले से 25 बसो को उनके प्रभारी अधिकारियों एवं नोडल अधिकारियो के साथ समुचित सूखा नास्ता देकर रवाना कर दिया गया था। आज यह नोडल अधिकारी ट्रेनों से आ रहे इन मजदूरो का जहाॅ ट्रेन से उतरने के साथ ही स्वास्थ्य परीक्षण करवाकर उन्हे नास्ता करवाकर बसो से लेकर जिले में पहुंचेंगे । जिले में पहुंचने के साथ ही पुनः इनका स्वास्थ्य परीक्षण एवं भोजन करवाने के साथ इन्हे बसो से ही इनके गृह ग्राम तक पहुंचवाया जायेगा ।