हत्यारा सिस्टम : फिर भी नहीं कोई मौत का ज़िम्मेदार, कमिश्नर ने गांधी मेडिकल कॉलेज प्रबंधन को दी क्लीनचिट

भोपाल से खाईद जौहर की रिपोर्ट – राजधानी भोपाल के सबसे बड़े अस्पताल हमीदिया के कोविड वॉर्ड में शुक्रवार को 2 घंटे तक बिजली गुल रही थी। आरोप है कि इस दौरान पॉवर बैकअप की भी कोई व्यवस्था नहीं थी। साथ ही जनरेटर भी खराब था। इस दौरान आईसीयू में भर्ती एक कोविड मरीज की मौत हो गई। 

इन आरोपों के बाद शनिवार को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने जांच का आदेश दिया था। 

वहीं, इस मामले में भोपाल कमिश्नर कवींद्र कियावत ने राज्य सरकार को अपनी रिपोर्ट भेज दी हैं। इस रिपोर्ट में उन्होंने गांधी मेडिकल कॉलेज प्रबंधन को क्लीनचिट दी हैं। उन्होंने बिजली गुल होने के कारण किसी भी मरीज की मौत से इनकार किया हैं। उन्होंने दावा किया कि जब कोविड वॉर्ड में बिजली गुल हुई तो बैकअप इक्विपमेंट काम कर रहे थे। कोविड-19 वॉर्ड में दी जा रही सेवाएं बेहतर हैं। उन्होंने कहा कि किसी भी तरह की लापरवाही का मामला नहीं हैं। 

कमिश्नर ने कांग्रेस नेता अकबर खान की मौत के बारे में कहा कि उनकी हालत गंभीर होने की वजह से मौत हुई। 

बता दे कि शुक्रवार को उस समय हमीदिया अस्पताल की हकीकत सामने आई जब यहां कोरोना यूनिट की बिजली गुल हो गई। बिजली गुल होते ही यहां चीख-पुकार मच गई। जानकारी के मुताबिक, शाम 5:48 बजे बिजली गुल हुई थी, जो दो घंटे बाद 7:45 बजे वापस आई। इस दौरान कोरोना वार्डों में कुल 64 मरीज भर्ती थे। इनमें से 11 गंभीर मरीजों को आईसीयू वार्ड में रखा गया था।

बताया जा रहा है कि बिजली गुल हो जाने के बाद इमरजेंसी बैकअप का सहारा लिया गया, लेकिन महज 10 मिनट में वह भी बंद हो गया। कोरोना वार्ड में भर्ती मरीजों की मशीनें बंद हो गई। हाईफ्लो सपोर्ट पर चल रहे दो मरीजों की हालत बिगड़ गई। उनको वेंटिलेटर पर लिया, सीपीआर भी दिया गया। बावजूद इसके कांग्रेस से पार्षद अकबर खान की जान चली गई। 

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