बंडा से अक्षय रजक की रिपोर्ट : – जिले की बंडा तहसील में सरकारी सिस्टम की लापरवाही का मामला सामने आया है यहां पीएम किसान सम्मान निधि के तहत किसान को पहली किश्त दो हजार रुपए देने के बाद किसान को पोर्टल पर मृत बता कर सहायता रोक दी गई इसका पता जब किसान को लगा तो उसने मामले की शिकायत पटवारी से लेकर आला अधिकारियों तक की अब दो साल से किसान सरकारी दफ्तरों के चक्कर लगा रहा है बावजूद न तो किसान को निधि मिली और न ही पोर्टल पर सुधार किया गया मामला बंडा ब्लॉक के बहरोल सर्किल के रमपुरा मौजा गांव का है इस मामले में किसान गणेश सिंह का कहना है कि वह जीवित है खेती-किसानी करता हैं इसके बाद भी पीएम सम्मान निधि पोर्टल पर उन्हें मृत दिखाया गया है इससे उन्हें सरकारी योजनाओं का लाभ मिलना बंद हो गया है। गणेश सिंह के मुताबिक रमपुरा मौजा में दो एकड़ कृषि भूमि उनके नाम पर है 2019 में उन्हें पीएम किसान सम्मान निधि की एक किश्त दो हजार रुपए के रूप में मिली थी। इसके बाद जब दूसरी किश्त के पैसे अन्य किसानों के खाते में आए और उन्हें हीं मिले, तो वह पटवारी के पास गए परंतु वहां शिकायत का निराकरण ना होने पर उन्होंने वरिष्ठ अधिकारियों से मामले की गुहार लगाई परंतु न्याय उन्हें अभी तक प्राप्त नहीं हुआ है पीड़ित किसान के अनुसार उसने सरकारी पोर्टल अपने आप को जीवित घोषित कराने के लिए ₹500 की रिश्वत दी पटवारी को दी परंतु पोर्टल पर सुधार नहीं हुआ इस मामले में बंडा तहसील दार का कहना है कि पीएम किसान निधि पोर्टल पर गलती से जीवित किसान को मृत बता दिया गया है यह बड़ा मामला नहीं है यह क्लेरीकल मिस्टेक है जिसे जल्द ठीक कर दिया जाएगा किसान योजना का लाभ
पाने के लिए अपात्र हैं दरअसल, किसान गणेश सिंह की पत्नी को सम्मान निधि भी मिलती है।नियमानुसार पति-पत्नी के मामले में किसी एक को ही योजना का लाभ दिया जा सकता है
गणेश सिंह पीड़ित किसान