सभी खबरें

MP: साइबर क्राइम बना नासूर, ऐसे ऐंठी जा रही लोगों की मेहनत की कमाई

साइबर क्राइम बना नासूर, ऐसे ऐंठी जा रही लोगों की मेहनत की कमाई

 

 मध्यप्रदेश में लगातार साइबर क्राइम के मामले सामने आते रहे हैं.. भोपाल संभाग में सबसे ज्यादा अपराध सामने आए.

 

 प्रदेश के 3 संभागों इंदौर भोपाल और उज्जैन में 3 साल में साइबर क्राइम की 1000 से ज्यादा मामले दर्ज हो चुके हैं. कई केस तो ऐसे भी हैं जिसमें लोग बदनामी की डर की वजह से शिकायत करने से कतराते हैं.

 

 समाचार पत्र पत्रिका में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार  राजधानी भोपाल में साइबर क्राइम में इंदौर को भी पीछे छोड़ दिया है. अगर बात 2018 से 2021 अगस्त तक की करें तो 453 केस दर्ज सेट भोपाल में हुए हैं इंदौर संभाग में 357 मामले सामने आए हैं वहीं उज्जैन में 213 केस दर्ज हुए हैं.

 अब ठग ऑनलाइन तरीके से ठगी कर रहे हैं. फ्रॉड की नई नई तरकीबें सोच रहे हैं. पहले अनजान नंबर से कैसे लिंक भेज कर और पर मिस्ड कॉल को मोबाइल फोन हैक करने का जरिया बनाया जाता है अनजान नंबर से पहले मोबाइल पर फिशिंग लिंक भेजी जाती है फिर मिस्ड कॉल किया जाता है मिस्ड कॉल को डायल कर बात करने के दौरान ही साइबर क्रिमिनल पूरा डेटा ट्रांसफर कर लेते हैं.

KBC के नाम पर फ्रॉड ठगों के लिए सबसे आसान :- 

 कौन बनेगा करोड़पति, प्रधानमंत्री योजना के नाम से अक्सर साइबरक्रिमिनल फ्रॉड करते हैं.

 इंदौर में 2 दिन पहले एक व्यक्ति के पास “कौन बनेगा करोड़पति” के नाम से लिंक आए तो उसने उसे क्लिक कर दिया फोन हैंग हुआ तो उसे आशंका हुई जिसके बाद उसने पुलिस से शिकायत की उन्होंने इंटरनेट बंद कराकर लिंक को डिलीट कराया.

 

 कैसे मिस्ड कॉल से हैक होता है आपका मोबाइल? :

 

 हैकिंग में मिस्ड कॉल ट्रैकर की तरह काम करता है. नंबर पर कॉल किया तो फोन उठाने वाला पहचान नहीं होने के बाद सबसे पहले आपको बातों में उलझाएगा और फिर ज्यादा समय तक बात करने की कोशिश करता है.

जब कॉल कट जाता है उसके बाद डेटा ट्रांसफर होना शुरू हो जाता है आपके मोबाइल का इंटरनेट जब तक चालू रहेगा डेटा ट्रांसफर होता रहेगा .

 विशेष सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करके मोबाइल फोन की कांटेक्ट लिस्ट मैसेज कैमरा माइक और सभी चीजों का कंट्रोल अपराधियों के अधीन हो जाता है वीडियो फोटो उनके सर्वर पर चले जाते हैं इसके साथ ही कॉल भी टेप होने लगता है.

 

 इस हैकिंग में कई बार 1 दिन तो कई बार अधिकतम 7 दिन में आपके मोबाइल का पूरा डाटा ठगों के सर्वर पर ट्रांसफर हो जाता है.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published.

Back to top button