मध्यप्रदेश/भोपाल – शिवराज सरकार एक बार फिर 3 हज़ार करोड़ रुपए का कर्ज ले रही हैं। सरकार ये कर्ज वित्तीय वर्ष समाप्त होने से पहले ले रही हैं। सीएम शिवराज के मुताबिक, इस राशि का उपयोग आर्थिक गतिविधियों को बढ़ाने के साथ-साथ विकास परियोजनाओं को गति देने में किया जाएगा। प्रदेश सरकार मार्च 2020 से अब तक 2 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का कर्ज ले चुकी हैं।
वहीं, लगातार कर्ज लेने के चलते मध्यप्रदेश की शिवराज सरकार और विपक्ष आमने सामने हो गए हैं। विपक्ष ने आरोप लगाया है कि यह सरकार केवल कर्ज पर टिकी हुई हैं। यह सरकार राजनीतिक और आर्थिक कर्ज के तले दबी हुई हैं। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि शिवराज सरकार कर्ज़ पर ही टिकी हुई हैं। इस सरकार पर राजनीतिक और आर्थिक कर्जे का बोझ रखा हुआ हैं।
वहीं,कमलनाथ के इस बयान पर पलटवार करते हुए गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि हमारी सरकार ने कर्ज लिया है जनता के विकास के लिए, आर्थिक गतिविधियों को बढ़ाने के लिए, कोरोना की स्थिति से निपटने के लिए। उन्होंने पूर्व की कमलनाथ सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि कांग्रेस सरकार जब कर्ज़ लेती थी तो IIFA अवार्ड के लिए ही कर्जा लिया करती थी।