रीवा:-वेतन ना मिलने से अतिथि विद्वान संजीव शुक्ला ने की आत्महत्या
रीवा/गरिमा श्रीवास्तव:- बीते 9 महीने से अतिथि विद्वानों को सेवा से बाहर कर दिया गया है जिसकी वजह से वह आर्थिक संकट से लगातार जूझ रहे हैं. पूर्व में भी 5 अतिथि विद्वानों ने परेशानियों से जूझते जूझते मौत को गले लगा लिया.
वही अब फिर से एक और अतिथि विद्वान ने वेतन न मिलने के कारण आर्थिक परेशानियों की वजह से खुद को मौत के हवाले कर दिया. बता दें कि यह अतिथि शिक्षक बीते 9 महीनों से परेशान थे. कांग्रेस सरकार की शोषणकारी नीतियों की वजह से इनर सेवा से बाहर कर दिया गया था उसके बाद शिवराज सिंह चौहान उस दौरान उनके धरना स्थल पर गए थे जब सत्ता में कमलनाथ की सरकार थी उन्होंने अतिथि विद्वानों से वादा किया था कि उनकी सरकार आते ही उनका नियमितीकरण कराया जाएगा पर सरकार बदल गई और नियमितीकरण अब तक नहीं हो सका.
इस मामले में ट्वीट कर कांग्रेस नेता सिद्धार्थ तिवारी ने कहा कि शिवराज जी,आपकी सरकार का भयावह चेहरा देखिए:वेतन ना मिलने की वजह से शिक्षक संजीव शुक्ल ने रीवा में आत्महत्या कर ली! नरेंद्र मोदी जी जिस नयी शिक्षा नीति की आप बात कर रहे थे वह इसी तरह गुरु के वध की है क्या?!
वहीं दूसरी तरफ इस मामले में जीतू पटवारी ने भी सरकार का घेराव किया है उन्होंने ट्वीट कर कहा कि अतिथिशिक्षकों को वेतन नहीं मिल रहा है वे आत्महत्या के लिए मज़बूर हैं जनसेवा की प्रतीक्षा करते इन लोगों की तरफ़ भी देखिए शिवराज जी और सिंधिया जी को भी प्रेरित करिए वे भले सड़क पर न आएँ इनके लिए दबाव तो बनायें
https://twitter.com/jitupatwari/status/1293452540743491584?s=19