कोरोना की तीसरी लहर का खतरा: केंद्र सरकार ने बच्चों के लिए जारी की नई गाइड लाइन, राज्य सरकारों को दिए ये निर्देश

नई दिल्ली : कोरोना की दूसरी लहर भले ही फ़ीकी पड़ गई हो, लेकिन कोरोना की तीसरी लहर के आने का खतरा अभी भी बना हुआ हैं। कोरोना की तीसरी लहर बच्चों के लिए खतरनाक साबित हो सकती है, ऐसा वैज्ञानिकों और एक्सपर्ट की रिपोर्ट में कहा गया हैं। इसी बीच केंद्र सरकार ने बच्चों के इलाज के लिए नई गाइडलाइन (Guideline) जारी की है, साथ ही राज्य सरकारों को भी सतर्क रहें के निर्देश दिए हैं। 

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के तहत स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय (DGHS) ने बच्चों के मामले में सीटी स्कैन पर सलाह दी हैं। DGHS ने कहा है कि बच्चों के मामले में हाई रेजोल्यूशन सीटी स्कैन (HRCT) सोच समझकर ही एडवाइज करना चाहिए।

साथ ही केंद्र सरका ने बच्चों को रेमडेसिवीर इंजेक्शन और स्टेरॉयड देने के लिए मना किया गया हैं। 

स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि रेमडेसिवीर की बच्चों पर इस्तेमाल की सिफारिश नहीं की गई है ये एक आपातकाल में इस्तेमाल करने वाली दवा है  इसके 18 साल से कम बच्चों पर इस्तेमाल की सुरक्षा और प्रभाव के डेटा उपलब्ध नहीं है।

इसके अलावा स्वास्थ्य मंत्रालय ने सलाह दी है के अगर बच्चों का सेचुरेशन 94 प्रतिशत से नीचे आता है और सांस लेने में तकलीफ होती है तो बच्चों को अस्पताल में भर्ती करने का फैसला लिया जाना चाहिए। मंत्रालय ने सलाह दी है कि बच्चों की अंगुली में पल्स ऑक्सीमीटर लगा दिया जाये और उनसे कमरे के अंदर ही 6 मिनट वॉक यानी टहलने के लिए कहा जाए। लेकिन ये भी ध्यान रखा जाये कि जो बच्चे अस्थमा पीड़ित हैं उनके लिए इस टेस्ट की सलाह नहीं दी जाती।

 

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