भोपाल : मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में बीती 20 अगस्त की रात से तेज बारिश शुरू हुई थी, जो 22 अगस्त तक चलती रही। लगातार हुई बारिश के बाद सड़कें बुरी तरह से उखड़ गई है। सड़कों पर दो फीट तक गहरे गड्ढे हो गए है। जिसके कारण राहगीरों का गुज़रना भी मुश्किल हो गया है।
ऐसी कोई सड़क नहीं बची, जो न उखड़ी हो। चाहे होशंगाबाद रोड हो या कोलार, हमीदिया रोड, बावड़ियाकलां। अब इन गड्ढों में नगर निगम मिट्टी बिछा रहा है, जो धूल बनकर राहगीरों का रास्ता रोक रही है।
जिम्मेदारों की मानें तो बारिश से 500 किलोमीटर से ज्यादा लंबी सड़कें जर्जर हुई हैं। इनमें कोलार, होशंगाबाद रोड, बावड़ियाकलां, हमीदिया रोड, करोंद, अयोध्या बायपास, रायसेन रोड, इंद्रपुरी, आनंद नगर, भेल, सुभाषनगर, छोला, अशोका गार्डन आदि इलाके शामिल हैं।
जबकि, पहले से जर्जर एक हजार किमी सड़कें और भी खस्ताहाल हो गई है।
मालूम हो कि पिछले साल सड़कों की स्थिति की समीक्षा करते समय CM शिवराज सिंह चौहान ने CPA को बंद करने के निर्देश दे दिए थे। करीब छह महीने की लंबी प्रोसेस के बाद सीपीए हमेशा के लिए बंद कर दिया गया।
बता दे कि अब इसकी सड़कें पीडब्ल्यूडी को सौंपी गई है। राजधानी में नगर निगम की 3879 किमी, पीडब्ल्यूडी की 531 किमी, बीडीए की 150 किमी और CPA (राजधानी परियोजना प्रशासन) की 132 किमी सड़कें हैं।
इधर, सड़कों को लेकर सियासत भी गरमा गई है। गड्ढों में गायब हो चुकी सड़कों को लेकर विपक्ष ‘शहर सरकार’ को घेरने की रणनीति बना रहा है।